ई-पण्डित (श्रीश बेंजवाल शर्मा) के ब्लॉग पर अंतिम पोस्ट 21 अक्तूबर 2007 की है। अर्थात लगभग आधा वर्ष हो गया उनको ब्लॉग-निष्क्रिय हुये। श्रीश वे प्रारम्भिक सज्जन हैं जो मुझे हिन्दी ब्लॉगरी की ओर लाये। वे मेरे ब्लॉग पर काफी नियमित टिप्पणी करते रहे हैं। मैने यह भी पाया है कि वे हिन्दी ब्लॉगिंग का ककहरा सीख रहे लोगों के ब्लॉग पर जा कर टिप्पणी अवश्य करते थे।
कहां हैं ई-पण्डित आजकल? मैं उन्हे हिन्दी ब्लॉगरी में शरीफ/सज्जन होने का आइकॉन मानता हूं। उनकी याद आ रही है। कल उनका ब्लॉग खंगाल रहा था, माल गाड़ियों की गणना से जब उच्चाटन हो रहा था, तब। उसके बाद झारखण्ड बन्द के चक्कर में हमारी गाड़ियां अस्त-व्यस्त होने लगीं। अब जा कर स्थिति नॉर्मल होने को आयी, तो श्रीश की पुन: याद आयी।
श्रीश के ही ब्लॉग से स्माइली के फॉयरफॉक्स में एड-ऑन का सॉफ्टवेयर डाउन लोड किया है। उसकी एक -दो स्माइली ही नीचे लगा देता हूं। बाकी यह पोस्ट सिर्फ श्रीश की याद आने के कारण लिखी है।
घणा बुखार है।
ReplyDeleteतबीयत बेजार है।
दुनिया सिर्फ दुख है, बुद्ध का यही वचन सत्य मालूम दे रहा है।
एकाध दिन मैं बुद्धिस्ट सा रहूंगा।
श्रीश पंडितजी पता नहीं कहां है, संजीतजी को पता होगा।
पता लगे तो मुझे भी बताइए।
कुछ १-२ दिन पहले संजय पर पोडकास्टिंग से संबंधित पोस्ट पढते वक्त मैं भी सोच रहा था कि ई-पंडित आजकल कहां है?
ReplyDeleteसज्जन तो है निस्संदेह श्रीश जी।
ReplyDeleteदो तीन महीने पहले मैने भी यही पाया कि ई पंडित लंबे समय से गायब है न तो उनकी कोई पोस्ट दिख रही थी, न ही चिट्ठाकार ग्रुप मे उनके कोई ई मेल, या रिप्लाई और न ही वे जी टॉक पर ऑनलाईन दिख रहे थे लंबे समय से।
श्रीश भाई को ई मेल किया लेकिन उसका भी रिप्लाई नही आया था।
तब चिट्ठाकार ग्रुप में मैने साथियों से जानकारी मांगी कि आखिर कहां लापता है यह ई पंडित तो जीतू भाई से खबर मिली थी कि श्रीश जी इंटरनेटीय दिक्कत झेल रहे हैं विभिन्न सर्विस प्रोवाईडरों से त्रस्त हो कर खासतौर से बीएसएनएल की सेवा से त्रस्त हो कर मोबाईल के माध्यम से नेट कनेक्ट कर रहे हैं शायद।
फ़िर यह भी खबर आई कि वह बहुत व्यस्त चल रहे हैं।
खैर उसके बाद श्रीश भाई जी टॉक पर ऑनलाईन भी दिखे बातें हुई।
और अब चिट्ठाकार ग्रुप में कभी कभी उनके रिप्लाई दिख जा रहे हैं किसी न किसी मुद्दे पर्।
पोस्ट क्यों नही लिख रहे वह मालूम नही।
अनधिकृत सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक किसी कन्या के विरह ने उन्हे पोस्ट लिखने से रोका हुआ है ;)
कह रहे थे कि स्कूली छुट्टियों में फिर से सक्रिय होंगे ब्लाग पर.
ReplyDeleteअभी शायद काम की व्यस्तता है.
आज ही उनकी पोस्ट आयी है और हम कमेंट भी कर आये हैं , ऑनलाइन भी दिख रहे हैं, हांलाकि हम ने बतियाया नहीं उनसे।
ReplyDeleteलो सरकार हाजिर हैं श्रीश जी की ताज़ा पोस्ट इधर
ReplyDelete'हरियाणवी चौपाल' की चर्चा 'दैनिक भाष्कर' में
आज का दौर तो भुलाने का है ज्ञान भाई याद करने का नहीं...पर आपका याद करना अच्छा लगा...
ReplyDeleteक्षमा करे देर हो गयी आने मे। देर से आने से अब संजीत की टिप्पणी पढने से सब समझ आ गया। अब श्रीश जी की नियमित पोस्ट आयेगी यही हम सब उम्मीद करते है।
ReplyDeleteसज्जन तो है निस्संदेह श्रीश जी।
ReplyDeleteदो तीन महीने पहले मैने भी यही पाया कि ई पंडित लंबे समय से गायब है न तो उनकी कोई पोस्ट दिख रही थी, न ही चिट्ठाकार ग्रुप मे उनके कोई ई मेल, या रिप्लाई और न ही वे जी टॉक पर ऑनलाईन दिख रहे थे लंबे समय से।
श्रीश भाई को ई मेल किया लेकिन उसका भी रिप्लाई नही आया था।
तब चिट्ठाकार ग्रुप में मैने साथियों से जानकारी मांगी कि आखिर कहां लापता है यह ई पंडित तो जीतू भाई से खबर मिली थी कि श्रीश जी इंटरनेटीय दिक्कत झेल रहे हैं विभिन्न सर्विस प्रोवाईडरों से त्रस्त हो कर खासतौर से बीएसएनएल की सेवा से त्रस्त हो कर मोबाईल के माध्यम से नेट कनेक्ट कर रहे हैं शायद।
फ़िर यह भी खबर आई कि वह बहुत व्यस्त चल रहे हैं।
खैर उसके बाद श्रीश भाई जी टॉक पर ऑनलाईन भी दिखे बातें हुई।
और अब चिट्ठाकार ग्रुप में कभी कभी उनके रिप्लाई दिख जा रहे हैं किसी न किसी मुद्दे पर्।
पोस्ट क्यों नही लिख रहे वह मालूम नही।
अनधिकृत सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक किसी कन्या के विरह ने उन्हे पोस्ट लिखने से रोका हुआ है ;)