tag:blogger.com,1999:blog-7822286262846371486.post5018445696912655058..comments2024-03-15T04:14:04.408+05:30Comments on मानसिक हलचल: रामबिलास का रिक्शाGyan Dutt Pandeyhttp://www.blogger.com/profile/05293412290435900116noreply@blogger.comBlogger9125tag:blogger.com,1999:blog-7822286262846371486.post-23661746054381389732007-08-28T23:50:00.000+05:302007-08-28T23:50:00.000+05:30सही चिंतन!! फ़ोर लाईना रोज़ाना तैयार रखा जाए!!सही चिंतन!!<BR/><BR/> फ़ोर लाईना रोज़ाना तैयार रखा जाए!!Sanjeet Tripathihttps://www.blogger.com/profile/18362995980060168287noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7822286262846371486.post-86582384983200336212007-08-28T20:13:00.000+05:302007-08-28T20:13:00.000+05:30'केवल दो ऐब के चलते वहां रह नहीं पाया. पहला ऐब तो ...'केवल दो ऐब के चलते वहां रह नहीं पाया. पहला ऐब तो नित्य नियम से शराब पीने का अनुष्ठान था/है. दूसरा ऐब है कर्ज लेकर अपनी अर्थव्यवस्था चलाने का.'<BR/><BR/><BR/>यह रोग या ऐब तो सभी आय वर्ग मे फैल रहा है और एड्स से भी ज्यादा खतरनाक है। <BR/><BR/>मै इस रचना को दिल के अन्दर से उपजी सार्थक रचना मानता हूँ। बधाई।Pankaj Oudhiahttps://www.blogger.com/profile/06607743834954038331noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7822286262846371486.post-14589110008782239812007-08-28T20:07:00.000+05:302007-08-28T20:07:00.000+05:30और सब तो ठीक पर ये बनारसी रिक्शा इलाहाबाद मे कहॉ च...और सब तो ठीक पर ये बनारसी रिक्शा इलाहाबाद मे कहॉ चलता है।<BR/><BR/>तुकबंदी जारी रखें। :)<BR/><BR/>राखी की बधाई और शुभकामनायें।mamtahttps://www.blogger.com/profile/05350694731690138562noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7822286262846371486.post-65735907196813201292007-08-28T19:58:00.000+05:302007-08-28T19:58:00.000+05:30@ बसंत आर्य - तुक बन्दी को बहुत भाव न दीजिये, वर्न...@ बसंत आर्य - तुक बन्दी को बहुत भाव न दीजिये, वर्ना इस तरह की फोर-लाइनर रोज बनने लगेंगी!Gyan Dutt Pandeyhttps://www.blogger.com/profile/05293412290435900116noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7822286262846371486.post-43890158671458790752007-08-28T17:03:00.000+05:302007-08-28T17:03:00.000+05:30आपने एक बार कहा था आपको कविताये ज्यादा समझ नहीं आत...आपने एक बार कहा था आपको कविताये ज्यादा समझ नहीं आती तो फिर ये क्या है.<BR/>कितनी सारी इच्छायें हैं <BR/>कैसी कैसी आस <BR/>उनको भी ढ़ोता है कैसे <BR/>देखो रामबिलास <BR/><BR/> आप तो छुपे रूस्तम है जनाब.बसंत आर्यhttps://www.blogger.com/profile/15804411384177085225noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7822286262846371486.post-23289642700382745312007-08-28T14:05:00.000+05:302007-08-28T14:05:00.000+05:30मोबाईल और रेडियो ख़रीदने की दमित इच्छा उभर आती है...मोबाईल और रेडियो ख़रीदने की दमित इच्छा उभर आती है । <BR/><BR/>दिल बैठ गया पढ़के । ज्ञान जी सच मानिए, अगर हम वहां होते तो मोबाइल तो नहीं लेकिन रामविलास को <BR/>रेडियो जरूर दिला देते । <BR/>आजकल हमने ये काम सीख लिया है । <BR/>किसी भी व्यक्ति को रेडियो की जरूरत है और <BR/>खरीद नहीं पा रहा है तो हम उसे एक रेडियो दिलवा देते हैं ।<BR/>पता नहीं क्यों मन को सुकून मिलता है । <BR/>कोई खास क्रांति नहीं है । लेकिन रामविलास को रेडियो मिल जाए<BR/>तो जो खुशी उसको होगी वो हमें अपने लिए आई मेट फोन लेकर भी नहीं होगी ।Yunus Khanhttps://www.blogger.com/profile/12193351231431541587noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7822286262846371486.post-61201676329201444582007-08-28T12:53:00.000+05:302007-08-28T12:53:00.000+05:30राम बिलासजी को ब्लागिंग काहे नहीं सिखाते आप!राम बिलासजी को ब्लागिंग काहे नहीं सिखाते आप!अनूप शुक्लhttps://www.blogger.com/profile/07001026538357885879noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7822286262846371486.post-72964237430865395962007-08-28T12:30:00.000+05:302007-08-28T12:30:00.000+05:30रामविलासजी को अपने घर की शांती के सुपरविजन में रखि...रामविलासजी को अपने घर की शांती के सुपरविजन में रखिये। सुधर जायेंगे।ALOK PURANIKhttps://www.blogger.com/profile/09657629694844170136noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7822286262846371486.post-45120578080328385062007-08-28T08:05:00.000+05:302007-08-28T08:05:00.000+05:30तीन दिन के अवकाश (विवाह की वर्षगांठ के उपलक्ष्य मे...तीन दिन के अवकाश (विवाह की वर्षगांठ के उपलक्ष्य में) एवं कम्प्यूटर पर वायरस के अटैक के कारण टिप्पणी नहीं कर पाने का क्षमापार्थी हूँ. मगर आपको पढ़ रहा हूँ. अच्छा लग रहा है.Udan Tashtarihttps://www.blogger.com/profile/06057252073193171933noreply@blogger.com