tag:blogger.com,1999:blog-7822286262846371486.post3312211173563619919..comments2024-03-15T04:14:04.408+05:30Comments on मानसिक हलचल: कुल्हाड़ी में धार देने की उपेक्षा कर सकते हैं हम?Gyan Dutt Pandeyhttp://www.blogger.com/profile/05293412290435900116noreply@blogger.comBlogger3125tag:blogger.com,1999:blog-7822286262846371486.post-23049153085728162382007-06-06T21:33:00.000+05:302007-06-06T21:33:00.000+05:30मेहनत का कोई विकल्प दिखाई नहीं देता को यूँ कहें कि...मेहनत का कोई विकल्प दिखाई नहीं देता को यूँ कहें कि मेहनत का कोई विकल्प नहीं होता.<BR/><BR/>-यकीन जानिये कि तकनिकी के विकास के साथ साथ अपेक्षायें भी उत्तरोत्तर बढ़ती जा रही हैं और अगर हम मेहनत करके साथ साथ न चलें तो कब और कितना पिछड़ जायेंगे, जान पाना भी मुश्किल होगा.Udan Tashtarihttps://www.blogger.com/profile/06057252073193171933noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7822286262846371486.post-19034132811834794052007-06-06T15:25:00.000+05:302007-06-06T15:25:00.000+05:30मेहनत सफलता की कुंजी है पर आज के समय मे इसके पर्या...मेहनत सफलता की कुंजी है पर आज के समय मे इसके पर्याय बदल गए है।mamtahttps://www.blogger.com/profile/05350694731690138562noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7822286262846371486.post-60587974094120391202007-06-06T13:31:00.000+05:302007-06-06T13:31:00.000+05:30सच कहा मेहनत का कोई विकल्प नहीं है . पर हमारी नई प...सच कहा मेहनत का कोई विकल्प नहीं है . पर हमारी नई पीढी मेहनत के अलावा नए आसान रास्तों को खोजने के यत्न में लगी रहती है .मेहनत उसके लिए मूल्य नहीं है वह प्रेक्टिकल होने में विश्वास रखती है .Neelimahttps://www.blogger.com/profile/14606208778450390430noreply@blogger.com